क्या बाँझपन का इलाज संभव है? जानिये बाँझपन क्या है और इसके क्या कारण होते है?

138 करोड़ की आबादी के देश में जाने कितने माँ बाप ऐसे है जिन्हे संतान सुख की प्राप्ति नहीं होती   भारत के कई क्षेत्रों में इसे आज भी एक अभिशाप की तरह माना जाता है, जो की सरासर गलत है। आज बाँझपन का इलाज(Infertility Treatment ) मुमकिन है।  इसलिए कई डॉक्टर्स का कहना है की शादी के 2 साल बाद भी यदि इक्छुक दंपत्ति की गोद सुनी रह जाती है तो जल्द ही एक अच्छे डॉक्टर से संपर्क करें और इसका इलाज करायें   

आइए जानते है बाँझपन क्या है? 

बाँझपन एक ऐसी स्थिति है जिसमे असुरक्षित यौ सम्बन्धो के बावजूद गर्भ धारण नहीं हो सकता यह बीमारी महिला और पुरुष, दोनों में देखे गए है और इसके कई कारण हो सकते है।  यह बीमारी दो प्रकार की होती है, पहली है प्राथमिक बाँझपन, जिसमे एक साल तक असुरक्षित सम्भोग के बाद भी संतान की प्राप्ति नहीं होती।  दूसरी है माध्यमिक बाँझपन, जिसमे पहले सफल गर्भधारण के बाद, दोबारा गर्भधारण हो पाए। 

 

इसके बहुत से कारण हो सकते है जैसे – 

पुरुष बाँझपन के कारण – 

  • शुक्राणु का असामान्य उत्पादन
  • आनुवंशिक असामान्यताएं
  • एंडोक्राइन असामान्यताएं
  • शुक्राणु की गति धीमी होना
  • वैरीकोसेल की समस्या
  • जन्मजात असामान्यताएं

महिला बाँझपन के कारण

  • फैलोपियन ट्यूब में क्षति या रुकावट
  • एंडोमेट्रियोसिस
  • ओवुलेशन विकार
  • एंडोक्राइन विकार
  • हार्मोनल असंतुलन
  • यूटेराइन फाइब्रॉइड्स
  • ऑटोइम्यून डिसऑर्डर

भारत के 15 प्रतिशत से अधिक लोग, बाँझपन की समस्या से जूझ रहे है।  मगर पिछले कुछ सालो से आशा की एक किरण जागी है | इकीसवीं सदी में आधुनिक तकनीकी की मदद से बाँझपन का इलाज अब संभव है। आईसीएसआई, आईयूआई और आईवीएफ जैसे आधुनिक उपचार, आपके गर्भधान के अवसरों को बढ़ा सकते हैं।  

आईवीएफ – 

आईवीएफ एक ऐसी जटिल प्रक्रियाओं की श्रृंखला हैं, जो की प्रजनन शक्ति के सम्भावना को बढ़ाने में और गर्भधारण में सहायता करता हैं। पिछले कुछ सालो में, गर्भधारण की सभी आधुनिक तकनीकियों में आईवीएफ सबसे कारगर साबित हुआ हैं।  

आईसीएसआई– 

गर्भधारण की सम्भावना को और बढ़ने के लिए आईवीएफ की प्रक्रिया के दौरान आईसीएसआई की प्रक्रिया भी की जाती है। आईसीएसआई की प्रक्रिया में सूक्ष्म नियंत्रण के तहत प्रत्येक अंडे में एक शुक्राणु का प्रत्यक्ष इंजेक्ट किया जाता है।  

आईयूआई– 

आईयूआई एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमे महिला के ओवुलेशन पीरियड के दौरान उनके गर्भाशय में शुक्राणु कोशिकाओं को डाला जाता है, जिससे शुक्राणु की यात्रा की समय और दुरी कम हो जाती है, और अंडे को निषेचित करना आसान हो जाता है।

बाँझपन के इलाज के लिए मेरीडियन आईवीएफ को संपर्क करें –

मेरीडियन आईवीएफ, वाराणसी के सभी सर्वश्रेष्ट्र फर्टिलिटी सेंटर्स में से एक माना जाता है।  पिछले कुछ सालो में मेरीडियन ने ऐसे कई माँ बाप की सुनी गोद को बच्चे की किलकारी से भरा है, जिन्होंने अपनी सारी उम्मीदें खो दी थी। हम अत्याधुनिक तकनीकों का उपयोग करते हुए, बहुत स्वछता और सटीकता के साथ, आईवीएफ जैसी पेचीदा प्रक्रियाओं को अंजाम देते है। यदि आप या आपका कोई अपना बाँझपन की समस्या से ग्रसित है तो आज ही बाँझपन के लिए महिला डॉक्टर(Female Doctor for Infertility)  से संपर्क करें।  

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Meridian IVF

What sets Meridian IVF apart is that we carry out advanced IVF procedures, using leading-edge technologies, with great precision and hygiene. We are the group of experts in the Fertility Centre in Varanasi. The Meridian IVF Clean Room IVF lab is a hi-tech, advanced lab specially designed to completely eradicate the harmful effect of viruses, bacteria, and other Volatile Organic Compounds (VOCs) on the growth of the embryo.

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